बांग्लादेश में हिंदू शिक्षकों से जबरन लिया जा रहा इस्तीफा
नई दिल्ली। बांग्लादेश में अल्पसंख्यक हिंदुओं की परेशानियों का अंत नहीं हो रहा है। हमलों और अत्याचारों का सामना करने के बाद, अब हिंदुओं को सरकारी नौकरियों से इस्तीफा देने…
नई दिल्ली। बांग्लादेश में अल्पसंख्यक हिंदुओं की परेशानियों का अंत नहीं हो रहा है। हमलों और अत्याचारों का सामना करने के बाद, अब हिंदुओं को सरकारी नौकरियों से इस्तीफा देने पर मजबूर किया जा रहा है। 5 अगस्त से अब तक लगभग 50 हिंदू शिक्षाविदों को इस्तीफा देने पर मजबूर किया गया है।
यह खुलासा बांग्लादेश छात्र एक्य परिषद, जो कि बांग्लादेश हिंदू बौद्ध ईसाई एक्य परिषद का छात्र संगठन है, ने किया। सरकारी बकरगंज कॉलेज की प्रिंसिपल शुक्ला रॉय ने की इस्तीफा देते हुए फोटो भी सामने आई है। उनसे एक सादे कागज पर मैं इस्तीफा देती हूं सिर्फ इतना ही लिखवाकर इस्तीफा ले लिया गया। कुछ शिक्षकों ने भी बांग्लादेश में हिंदू शिक्षकों के इस्तीफे की पुष्टि की। संजय कुमार मुखर्जी, एसोसिएट प्रोफेसर, लोक प्रशासन और गवर्नेंस स्टडीज विभाग, काजी नजरुल विश्वविद्यालय, बांग्लादेश ने कहा कि दादा, मैं संजय कुमार मुखर्जी, एसोसिएट प्रोफेसर, लोक प्रशासन और गवर्नेंस स्टडीज विभाग, काजी नजरुल विश्वविद्यालय, बांग्लादेश हूं। मुझे प्रॉक्टर और विभागाध्यक्ष के पद से इस्तीफा देने के लिए मजबूर किया गया। हम इस समय बहुत असुरक्षित हैं। बांग्लादेश से निर्वासित लेखिका, तस्लीमा नसरीन ने एक्स पर लिखा कि बांग्लादेश में हालात बेहद चिंताजनक हो गए हैं। शिक्षकों को जबरन इस्तीफा देने के लिए मजबूर किया जा रहा है। पत्रकार, मंत्री, और पूर्व सरकार के अधिकारियों को मारा जा रहा है, प्रताडि़त किया जा रहा है, और जेल में डाला जा रहा है।