पूरे भारत में भीषण गर्मी का कहर, अब तक हीट स्ट्रोक के 40 हजार मामले सामने आए, सैकड़ों की मौत दर्ज
जलवायु परिवर्तन का असर पूरी दुनिया पर पड़ता दिखाई दे रहा है। कहीं गर्मी तो कहीं बारिश का तांडव देखा जा सकता है। भारत के कई हिस्सों में गर्मी से…
जलवायु परिवर्तन का असर पूरी दुनिया पर पड़ता दिखाई दे रहा है। कहीं गर्मी तो कहीं बारिश का तांडव देखा जा सकता है। भारत के कई हिस्सों में गर्मी से कोहराम मचा हुआ है। आए दिन लोगों के मरने की खबर आ रही है। तापमान ने तो सारे रिकॉर्ड तोड़ दिए हैं। अब तक 50 डिग्री के पार जा चुका है। इस बीच अधिकारियों ने बताया कि इस बार गर्मी के मौसम में अबतक 40 हजार से अधिक हीटस्ट्रोक के मामले सामने आ चुके हैं। वहीं प्रचंड गर्मी ने पूरे देश में सौ से ज्यादा जीवन लील लिए। जबकि पूर्वोत्तर के कुछ हिस्से भारी बारिश से बाढ़ से जूझ रहे हैं। वैज्ञानिकों का कहना है कि मानव गतिविधियों की वजह से जलवायु पर खासा असर पड़ रहा है। इसकी वजह से एशिया भर में अरबों लोग भीषण गर्मी से जूझ रहे हैं। उत्तर भारत में तापमान लगभग 50 डिग्री सेल्सियस (122 डिग्री फ़ारेनहाइट) तक चला गया है। जो अब तक की सबसे लंबी गर्मी की लहरों में से एक है।
पक्षी आसमान से गिर रहे
प्रचंड गर्मी का अंदाजा इसी बात से लगाया जा सकता है कि बेचारे पक्षी आसमान में उड़ने की बजाय धरती पर आकर गिर रहे हैं। अस्पतालों में गर्मी से प्रभावित रोगियों की संख्या बढ़ रही है। लोग जरूरी काम के लिए भी दोपहर में घर से बाहर नहीं जा पा रहे हैं। इन सब की वजह यह भी है कि इस बार मार्च में गर्मी की शुरुआत के बाद से हाल के हफ्तों में दिन और रात दोनों का तापमान चरम पर था। वहीं, सबसे ज्यादा परेशानी देश की राजधानी दिल्ली में दर्ज की जा रही है। यहां लोगों को न तो पीने के लिए पर्याप्त पानी और न ही बिजली मिल रही हैं। हालांकि, स्वास्थ्य मंत्रालय ने संघीय और राज्य संस्थानों को मरीजों का तुरंत इलाज करने का आदेश दिया है। जबकि दिल्ली के अस्पतालों को निर्देश दिया गया था कि वे अधिक बिस्तर उपलब्ध कराएं।
इतने लोगों की मौत
स्वास्थ्य मंत्रालय के एक अधिकारी ने कहा कि एक मार्च से 18 जून के बीच हीट स्ट्रोक के 40,000 से अधिक संदिग्ध मामले सामने आए और कम से कम 110 लोगों की मौत की पुष्टि हुई। इस दौरान उत्तर-पश्चिम और पूर्वी भारत में सामान्य से दोगुनी संख्या में गर्म हवाएं चलीं। मौसम विभाग ने इस महीने के लिए भी सामान्य तापमान से अधिक रहने का अनुमान जताया है, क्योंकि अधिकारियों का कहना है कि असंतुलित वृद्धि के कारण भारतीय शहर हीट ट्रैप बन गए हैं।