गजब रामलीला: कुंभकर्ण, रावण से लेकर हनुमान तक, इस रामलीला में होंगी सिर्फ महिलाएं
रामलीलाओं का मौसम आने वाला है. 3 अक्टूबर से नवरात्र शुरू होते ही देशभर में रामलीलाओं का मंचन भी शुरू हो जाएगा. अभी तक आपने भी खूब रामलीलाएं देखी होंगी…
रामलीलाओं का मौसम आने वाला है. 3 अक्टूबर से नवरात्र शुरू होते ही देशभर में रामलीलाओं का मंचन भी शुरू हो जाएगा. अभी तक आपने भी खूब रामलीलाएं देखी होंगी लेकिन आज हम आपको एक ऐसी अनोखी रामलीला के बारे में बताने जा रहे हैं जहां उछल-कूद करते हनुमान भी और अट्टहास करते रावण का भी किरदार महिला निभाती है. इस रामलीला में पुरुषों का नामोनिशान नहीं होता, हर भूमिका में महिला होती है. खास बात है कि इस बार इसमें साढ़े 6 महीने की दुधमुंही बच्ची से लेकर 81 साल की बुजुर्ग महिला रामलीला में अभिनय करती नजर आएंगी.
आपको बता दें कि यह रामलीला पंजाब के जीरकपुर में पीरमुछल्ला ढकोली में आयोजित होने जा रही है. आपको सोचकर भी आश्चर्य होगा कि रावण, हनुमान, कुंभकर्ण जैसे भारी भरकम किरदारों में भी यहां महिलाएं ही नजर आने वाली हैं.
इस रामलीला को संचालित और निर्देशित करने वाली समाज सेविका एकता नागपाल News18hindi से बातचीत में बताती हैं कि महिलाओं की यह रामलीला 3 अक्टूबर से 12 अक्टूबर तक चलेगी. इस रामलीला की खास बात है कि इसके संचालन से लेकर अभिनय तक सिर्फ महिलाएं ही करेंगी. जो भी महिलाएं इस रामलीला में पार्ट प्ले कर रही हैं वे सभी महिलाएं बहुत पढ़ी-लिखी हैं और कामकाजी भी हैं. इस बार रिकॉर्ड 70 महिलाएं इसमें भाग लेने जा रही हैं.
मां बेटी निभाएंगी किरदार
एकता बताती हैं कि पिछले साल रामलीला मंचन में एक महिला प्रेग्नेंट थी. आज उसकी साढ़े 6 महीने की बच्ची है. इस बार रामलीला में मां और बेटी दोनों ही किरदार निभा रही हैं. जहां छोटी बच्ची दशरथ के चौथे बेटे शत्रुघ्न के किरदार में रहेगी वहीं उसकी मां भी रामलीला में अहम रोल करेगी.
इस बार खास होंगी ये चीजें
एकता कहती हैं कि रामलीला सिर्फ मनोरंजन न बनकर रह जाए, इससे समाज को सीख भी मिले इसके लिए इस बार कुछ चीजें खास की जा रही हैं. 10 दिन होने वाली रामलीला को 10 अलग-अलग सामाजिक कार्यों के लिए समर्पित किया जाएगा. जिनमें देश की सेना का सम्मान, दिव्यांगों के प्रति संवेदनशीलता, बेटी बचाओ बेटी पढ़ाओ, साइबर क्राइम से कैसे बचें आदि विषय शामिल होंगे. हर दिन इन पर एक प्रस्तुति रहेगी, साथ ही नवरात्र के महत्व को भी बतलाया जाएगा.