त्रिपुष्कर योग में धनतेरस, लक्ष्मी-कुबेर पूजा से बनेंगे धनवान! देखें मुहूर्त, राहुकाल, दिशाशूल

इस बार त्रिपुष्कर योग में धनतेरस है. उस दिन धन्वंतरि जयंती, भौम प्रदोष और मंगलवार व्रत भी है. इस दिन कार्तिक कृष्ण द्वादशी तिथि, उत्तराफाल्गुनी नक्षत्र, इन्द्र योग, तैतिल करण,…

त्रिपुष्कर योग में धनतेरस, लक्ष्मी-कुबेर पूजा से बनेंगे धनवान! देखें मुहूर्त, राहुकाल, दिशाशूल

इस बार त्रिपुष्कर योग में धनतेरस है. उस दिन धन्वंतरि जयंती, भौम प्रदोष और मंगलवार व्रत भी है. इस दिन कार्तिक कृष्ण द्वादशी तिथि, उत्तराफाल्गुनी नक्षत्र, इन्द्र योग, तैतिल करण, उत्तर का दिशाशूल और कन्या राशि में चंद्रमा है. धनतेरस के लिए त्रयोदशी तिथि सुबह 10:31 बजे से शुरू होगी. धनतेरस की पूजा प्रदोष काल में की जाएगी, जिसका मुहूर्त मंगलवार को प्राप्त हो रहा है. धनतेरस पर लक्ष्मी, कुबेर और धन्वंतरि की पूजा का मुहूर्त शाम 6:31 बजे से शुरू है. धनतेरस की शाम पूजा करने से धन, सं​पत्ति, सुख, समृद्धि में बढ़ोत्तरी होती है. धनतेरस पर लोग शुभता के लिए सोना, चांदी, झाड़ू, धनिया, नमक आदि खरीदते हैं. लोक मान्यताओं के अनुसार ऐसा करने से घर की बरकत होती है. धनतेरस पर सोना खरीदने का शुभ मुहूर्त सुबह 10:31 बजे से है. इसके बाद से आप पूरे दिन खरीदारी कर सकते हैं. धनतेरस के दिन त्रिपुष्कर योग बना है, जिसमें किए गए शुभ कार्यों के तीन गुना फल प्राप्त होते हैं.

धनतेरस के दिन धन्वंतरि जयंती मनाते हैं. शाम के समय में देवताओं के वैद्य धन्वंतरि की पूजा करते हैं. इनकी उत्पत्ति सागर मंथन के समय हुई थी. ये हाथ में कलश लेकर प्रकट हुए थे. धनतेरस पर धन्वंतरि की पूजा करने से व्यक्ति निरोगी रहता है, उसे कोई रोग नहीं होता है. धनतेरस को धनत्रयोदशी के नाम से भी जानते हैं. धनतेरस को भौम प्रदोष व्रत भी है क्योंकि त्रयोदशी तिथि को प्रदोष व्रत रखते हैं. इसमें शिव जी की पूजा शाम के समय करते हैं. भौम प्रदोष पूजा का मुहूर्त शाम 5:38 बजे से है. प्रदोष व्रत और पूजा से कष्ट मिटते हैं और शिव कृपा से मनोकामनाएं पूरी होती हैं

धनतेरस पर मंगलवार व्रत भी है, जो वीर हनुमान जी के लिए स​मर्पित है. हनुमान जी की पूजा करने से कुंडली का मंगल दोष दूर होता है. मंगल के शुभ प्रभाव के लिए आपको मंगलवार व्रत के साथ हनुमान जी की पूजा करनी होगी. मंगल के बीज मंत्र का जाप कर सकते हैं. पंचांग से जानते हैं धनतेरस के मुहूर्त, शुभ योग, सूर्योदय, चंद्रोदय, दिशाशूल, राहुकाल आदि.

आज का पंचांग, 29 अक्टूबर 2024
आज की तिथि- द्वादशी – 10:31 ए एम तक, उसके बाद त्रयोदशी
आज का नक्षत्र- उत्तराफाल्गुनी – 06:34 पी एम तक, फिर हस्त
आज का करण- तैतिल – 10:31 ए एम तक, गर – 11:53 पी एम तक, उसके बाद वणिज
आज का योग- इन्द्र – 07:48 ए एम तक,​ फिर वैधृति
आज का पक्ष- कृष्ण
आज का दिन- मंगलवार
चंद्र राशि- कन्या

सूर्योदय-सूर्यास्त और चंद्रोदय-चंद्रास्त का समय
सूर्योदय- 06:31 ए एम
सूर्यास्त- 05:38 पी एम
चन्द्रोदय- 04:27 ए एम, 30 अक्टूबर
चन्द्रास्त- 03:57 पी एम

धनतेरस 2024 शुभ मुहूर्त और योग
धनतेरस पूजा मुहूर्त: शाम 6:31 बजे से रात 8:13 बजे तक
धनतेरस पर सोना खरीदने का मुहूर्त: सुबह 10:31 बजे से 30 अक्टूबर को सुबह 6:32 बजे तक
त्रिपुष्कर योग: सुबह 06:31 बजे से सुबह 10:31 बजे तक
ब्रह्म मुहूर्त: 04:48 ए एम से 05:40 ए एम
अभिजीत मुहूर्त: 11:42 ए एम से 12:27 पी एम

भौम प्रदोष 2024 पूजा मुहूर्त
शाम 5:38 बजे से रात 8:13 बजे तक

अशुभ समय
राहुकाल- 02:51 पी एम से 04:15 पी एम
गुलिक काल- 12:05 पी एम से 01:28 पी एम
दिशाशूल- उत्तर

रुद्राभिषेक के लिए शिववास
नन्दी पर – 10:31 ए एम तक, फिर उसके बाद भोजन में.